आईआईएमटी कॉलेज ऑफ फार्मेंसी में दो दिवसीय इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस हुई शुरू
आईआईएमटी कॉलेज ऑफ फार्मेंसी में दो दिवसीय इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस हुई शुरू
शफी मौहम्मद सैफी
ग्रेटर नोएडा। नॉलेज पार्क स्थित आईआईएमटी कॉलेज ऑफ फार्मेंसी में सेकंड इंटरनेशनल कॉन्फ्रेंस ऑन कटिंग ईडीजीई टेक्नोलॉजीज (आईसीसीईटी-2024) को लेकर दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन की शुरूआत हुई। जिसमें रिसेंट एडवांसमेंट इन कटिंग ईडीजीई टेक्नोलॉजी इन साइंटिफिक इन्नोवेशन एंड स्किल डेवलपमेंट ऑफ़ स्टूडेंट एंड स्कॉलर्स के मुद्दे पर चर्चा की गई। सम्मेलन में अतिथि के रूप में पूर्व वाइस चांसलर जामिया हमदर्द के डॉ. एसएच अंसारी, एमेरिटस के प्रोफेसर डॉ. गोविंद मोहन, अमृता स्कूल ऑफ़ मेडिसिन फरीदाबाद के प्रिसिपल डॉ. बीके मिश्रा, एमवीएम विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर डॉ अरूण गर्ग, बीएस अनंगपुरिया इंस्टीट्यूट के डॉयरेक्टर डॉ. आर के खेर उपस्थित रहे। इन सभी लोगों का स्वागत आईआईएमटी कॉलेज समूह के प्रबंध निदेशक डॉ. मयंक अग्रवाल ने किया। कॉन्फ्रेंस के दौरान मलेशिया, सऊदी अरब, चीन, ऑस्ट्रेलिया सहित भारत के करीब 100 से अधिक शिक्षण संस्थानों के 500 से अधिक शिक्षकों और छात्रों ने भाग लिया। वहीं इस मौके पर 200 से अधिक स्कालर्स ने अपने शोधपत्र और पोस्टर प्रस्तुत किए, साथ ही कई विश्वविद्यालय और प्रकाशन के साथ एमओयू किया गया। इस सम्मेलन के दौरान अपने संबोधन में आईआईएमटी कॉलेज ऑफ फार्मेंसी के डॉयरेक्टर डॉ. नकुल गुप्ता ने कहा कि फार्मेसी का पेशा अपने आप में महान कार्य है। डॉक्टर को भगवान का दूसरा रूप माना जाता है क्योंकि इसमें पीड़ित मानवता के हित में सेवा और त्याग की भावना भी निहित है। आज के समय में प्रतिस्पर्था काफी बढ़ गई है इसके लिए फार्मा के छात्रों को शोध पर ध्यान देने की जरूरत है। वहीं कार्यक्रम में डॉ. एसएच अंसारी ने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम होने चाहिए जिससे कि छात्र एक दूसरे के साथ अपने विचार साझा कर सकें। इसी के साथ ही दूसरे अतिथियों और छात्रों ने भी कॉन्फ्रेंस के दौरान अपने विचार रखे। इस मौके पर कॉलेज समूह के निदेशक केके पालीवाल, एचआर हेड अजय राम पुरी, डॉ. अभिन्न बख्सी भटनागर, डॉ. एसएस त्यागी, डॉ. पूनम पांडेय, डॉ. पुष्पेद्र जैन, सुधीर अरोड़ा, डॉ. दीपक काजला, खुशबू गुप्ता, अंकिता त्रिपाठी, भारती चौहान, प्रिया पांडेय सहित कालेज समूह के सभी डीन, एचओडी और अनेक छात्र मौजूद रहे।