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वर्ल्ड एनवायरनमेंट एक्सपो 2025: ग्रेटर नोएडा में गूंजेगी ग्रीन इनोवेशन बुधवार से शुरू, 20 से अधिक देश लेंगे हिस्सा

वर्ल्ड एनवायरनमेंट एक्सपो 2025: ग्रेटर नोएडा में गूंजेगी ग्रीन इनोवेशन बुधवार से शुरू, 20 से अधिक देश लेंगे हिस्सा

शफी मौहम्मद सैफी

ग्रेटर नोएडा। भारत में पर्यावरणीय नवाचार और स्थायी विकास के सबसे बड़े मंच वर्ल्ड एनवायरनमेंट एक्सपो 2025 की भव्य वापसी हो रही है। यह अंतरराष्ट्रीय स्तर का आयोजन 4 से 6 जून तक ग्रेटर नोएडा स्थित इंडिया एक्सपो सेंटर में होगा। ग्रीन सोसाइटी ऑफ इंडिया और इंडियन एग्ज़ीबिशन सर्विसेज द्वारा संयुक्त रूप से आयोजित इस एक्सपो में 20 से अधिक देश भाग लेंगे और पर्यावरणीय तकनीकों की झलक पेश करेंगे।एक्सपो का उद्घाटन दिल्ली सरकार में उद्योग, खाद्य एवं आपूर्ति तथा पर्यावरण, वन एवं वन्य जीवन मंत्री मंजिंदर सिंह सिरसा द्वारा किया जाएगा। उनकी मौजूदगी पर्यावरण संरक्षण और औद्योगिक सहयोग में नीतिगत प्रतिबद्धता को दर्शाएगी।इस वर्ष एक्सपो में बायोफ्यूल एक्सपो 2025, वर्ल्ड ऑफ रीसायक्लिंग एक्सपो 2025, रूफटॉप सोलर एक्सपो 2025 और बायोडीग्रेडेबल एक्सपो 2025 जैसे आयोजन शामिल किए गए हैं।

बायोफ्यूल एक्सपो में बायोडीज़ल, एथेनॉल, बायोगैस, हाइड्रोजन व बायोमास टेक्नोलॉजी को प्रदर्शित किया जाएगा।

बायोडीग्रेडेबल एक्सपो में पर्यावरण के अनुकूल पैकेजिंग व अन्य दैनिक उपयोग की चीज़ों पर ध्यान रहेगा।

वर्ल्ड ऑफ रीसायक्लिंग एक्सपो “4 आर” (Refuse, Reduce, Reuse, Recycle) की अवधारणा पर आधारित होगा।दुनियाभर के विशेषज्ञ और नीति निर्माता होंगे शामिल

इस तीन दिवसीय मेगा इवेंट में 15000 से अधिक आगंतुक, 100 से अधिक मेयर, विभिन्न निगमों, सार्वजनिक उपक्रमों, एनजीओ और सरकारी अधिकारियों की भागीदारी तय मानी जा रही है। इसके अतिरिक्त 2000 से अधिक प्रतिनिधि— जिनमें शोधकर्ता, उद्योगपति, शैक्षणिक विशेषज्ञ और अंतर्राष्ट्रीय प्रतिनिधि शामिल हैं— पर्यावरण से जुड़े गंभीर विषयों जैसे कार्बन उत्सर्जन, जलवायु परिवर्तन, ऊर्जा दक्षता और स्मार्ट सिटी पर मंथन करेंगे।वर्ल्ड एनवायरनमेंट एक्सपो 2025 न केवल एक प्रदर्शनी है, बल्कि यह भारत को ग्रीन टेक्नोलॉजी और सस्टेनेबल डवलपमेंट के वैश्विक केंद्र के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक अहम प्रयास है। यह आयोजन भविष्य की पर्यावरणीय चुनौतियों से निपटने के लिए समाधान प्रस्तुत करेगा और पर्यावरणीय नीति निर्माण को नई दिशा देगा।

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